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क्या कोविड 19 के वायरस को समाप्त कर पाएगा गर्म मौसम?

कोविड 19 पर व्हाट्सऐप यूनिवर्सिटी पर तरह तरह की बातें चल रहीं हैं। इस पर रोक लगना चाहिए। कोविड 19 पर जो भी बात की जाए वह पूरी तरह ठोस आधारों पर होना जरूरी है। इस मामले में चिकित्सकों की क्या राय है यह बहुत महत्वपूर्ण है। इसलिए विश्व स्वास्थ्य संगठन की आधिकारिक वेब साईट पर दिए गए तथ्यों के संबंध में चिकित्सकों से चर्चा के बाद ही किसी तरह की बात सोशल मीडिया पर पोस्ट की जाए।
लिमटी खरे

हमारा उद्देश्य आपको डराना या भय पैदा करना कतई नहीं है, पर इस वायरस के संक्रमण से बचने के संभावित उपायों आदि पर चर्चा भी जरूरी है। आप अपने घरों में रहें, घरों से बाहर न निकलें, सोशल डिस्टेंसिंग अर्थात सामाजिक दूरी को बरकरार रखें, शासन, प्रशासन के द्वारा दिए गए दिशा निर्देशों का कड़ाई से पालन करते हुए घर पर ही रहें।

एक बात अभी तेजी से वायरल होती दिख रही है कि क्या भारत में मौसम के गर्म होते ही इस वायरस के संक्रमण को कम किया जा सकता है! इस बारे में विश्व स्वास्थ्य संगठन के द्वारा भी शोध किए जा रहे हैं। इस मसले पर चिकित्सकों का भी अपना मत है।

इस बारे में अभी तक किसी तरह की पुख्ता बात तो समाने नहीं आई है पर ग्लोबल वायरस नेटवर्क नामक संस्था के द्वारा अपने अध्ययन में यह पाया है कि कोविड 90 वायरस के द्वारा अपने प्रभाव को 30 से 50 डिग्री अक्षांश में स्थित आद्रता वाले क्षेत्रों को सबसे ज्यादा अपनी चपेट में लिया है।

इस संस्था ने यह भी पाया है कि तापमान में 12 डिग्री सेल्सियस की बढ़ोत्तरी होने पर अर्थात तापमान अगर 17 डिग्री सेल्सियस से ज्यादा है तो इस विषाणु का फैलाव कुछ हद तक कठिन हो सकता है। वहीं, चीन में हुआ एक अध्ययन यह बताता है कि इस विषाणु के फैलाव के लिए 8.72 डिग्री तापमान उपयुक्त पाया गया है। इसमें हर एक डिग्री की बढ़ोत्तरी पर इसके संक्रमण की तादाद कम होती चली गई।

अब यह तो आने वाला समय ही बताएगा कि देश में आने वाले समय में पड़ने वाली गर्मी में इस विषाणु के फैलाव की दर क्या होगी!

एक शोध के अनुसार 2012 में फैले मिडिल ईस्ट रेस्परेटरी सिंड्रोम वायरस कोरोना वायसर अर्थात मार्स कोविड महामारी में देश में एक भी मौत दर्ज नहीं की गई थी। यह बात आज भी शोध का ही विषय है कि यह प्रापर आईसोलेशन के कारण हुआ था अथावा जलवायु परिवर्तन के चलते!

हमारा उद्देश्य आपको डराना या भय पैदा करना कतई नहीं है, पर इस वायरस के संक्रमण से बचने के संभावित उपायों आदि पर चर्चा भी जरूरी है। आप अपने घरों में रहें, घरों से बाहर न निकलें, सोशल डिस्टेंसिंग अर्थात सामाजिक दूरी को बरकरार रखें, शासन, प्रशासन के द्वारा दिए गए दिशा निर्देशों का कड़ाई से पालन करते हुए घर पर ही रहें। यह वायरस गर्मी की तीव्रता सह पाएगा या नहीं यह बात तो भविष्य के गर्भ में ही है। आप सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करें, घर पर ही रहें, बाकी सूर्य की किरणों पर छोड़ दें!

(लेखक समाचार एजेंसी ऑफ इंडिया के संपादक हैं.)

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